महंगाई से मिली थोड़ी राहत लेकिन अभी भी संतोषजनक स्तर से ऊपर

रजनीश कुमार

नई दिल्ली, 15 जून

उपभोक्ता मूल्य सूचकांक(CPI) पर आधारित खुदरा महंगाई दर मई महीने में 0.75 प्रतिशत घटकर 7.04 प्रतिशत रहने के साथ आम लोगों को महंगाई से थोड़ी राहत मिली है। हालांकि खुदरा महंगाई दर अभी भी आरबीआई के संतोषजनक स्तर 4-6 प्रतिशत से बहुत ज्यादा है। अप्रैल महीने में खुदरा महंगाई दर 7.79 प्रतिशत रही थी जो कि पिछले आठ सालों में सबसे अधिक थी।

पिछले साल मई में खुदरा महंगाई दर 6.3 फीसदी रही थी। खाने-पीने के सामानों की महंगाई अभी भी बहुत ज्यादा है। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) की सोमवार को जारी रिपोर्ट के अनुसार खाद्य वस्तुओं की महंगाई दर 7.97 प्रतिशत है। हालांकि खाद्य वस्तुओं की महंगाई दर में भी अप्रैल की तुलना में थोड़ी कमी आई है। अप्रैल में खाने-पीने वाले वस्तुओं की महंगाई दर 8.38 प्रतिशत थी। पिछले दिनों देखा गया कि महंगाई को काबू करने के लिए आरबीआई ने 40 दिनों के भीतर दो बार रेपो दर में वृद्धि किया है। पिछले चार मई को आरबीआई ने रेपो दर में 0.4 प्रतिशत और फिर 8 जून को 0.5 प्रतिशत की वृद्धि की थी जिससे फिलहाल रेपो दर 4.90 प्रतिशत पर बना हुआ है। विशेषज्ञों का मानना है कि महंगाई को काबू करने के लिए सरकार रेपो दर को और भी बढ़ा सकती है।

महंगाई दर घटने की मुख्य वजह खाद्य और पेय पदार्थों और ईंधन के दामों में कमी माना जा रहा है। पिछले दिनों आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा था 'मुद्रास्फीति बढ़ाने में खाद्य वस्तुओं का 75 प्रतिशत योगदान रहता है। साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि वित वर्ष 23 की तीसरी तिमाही तक मुद्रास्फीति संतोषजनक स्तर से ऊपर रहने की संभावना है।

सबसे अधिक मुद्रास्फीति आंध्रप्रदेश, तेलंगाना और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में रही। तेलंगाना में 9.45, महाराष्ट्र में 8.52 और आंध्रप्रदेश में 8.49 प्रतिशत मुद्रास्फीति रही। केरल में महंगाई दर सबसे कम 4.82 प्रतिशत रही। तो वही उसके बाद दिल्ली में 5.57, हिमाचल प्रदेश में 5.63, तलिलनाडू में 5.72 और पंजाब में 5.77 प्रतिशत सबसे कम रहा।

राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय की रिपोर्ट में एक और दिलचस्प बात सामने आई है। पिछले चार-पांच महीनों में देखा गया कि शहरों की तुलना में ग्रामीण क्षेत्रों में महंगाई दर अधिक रही थी, लेकिन इस बार मई में खुदरा महंगाई दर शहरी क्षेत्रों की तुलना में ग्रामीण क्षेत्रों में कम देखी गई। अप्रैल में शहरी क्षेत्रों में महंगाई दर 7.09 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्रों में 8.38 प्रतिशत रही थी। उसी तरह मुद्रास्फीति मार्च में शहरी क्षेत्रों में 6.12 और ग्रामीण क्षेत्रों में 7.66 प्रतिशत, फरवरी में शहरी क्षेत्रों में 5.75 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्रों में 6.38 प्रतिशत और जनवरी में शहरी क्षेत्रों में 5.91 प्रतिशत और ग्रामीण क्षेत्रों में 6.12 प्रतिशत रही थी, लेकिन इस बार मई महीने में महंगाई दर शहरी क्षेत्रों में 7.08 और ग्रामीण क्षेत्रों में 7.01 प्रतिशत रही।

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